- उम्मेदाबाद के आयुर्वेद औषधालय में आग लगने से चिकित्सक जिंदा जला
दिलीप डूडी, जालोर. जालोर जिले के बिशनगढ़ थाना क्षेत्र के उम्मेदाबाद स्थित आयुर्वेद औषधालय में रात को आग लगने से वहां सो रहे आयुर्वेद चिकित्सक की जिंदा जलने से मौत हो गई। हालांकि आग लगने के ठोस कारणों का फिलहाल पता नहीं लगा है, लेकिन पुलिस प्रारम्भिक रूप से स्मोकिंग के दौरान भड़की चिंगारी की वजह मान रही है।
इस घटना में पलँग पर सो रहे चिकित्सक का पूरा शरीर जल गया, केवल पैर का एक हल्का हिस्सा व खोपड़ी रही है। घटना के दौरान वहां चिकित्सक डॉ मीणा अकेले ही थे और कोई मौजूद होने की जानकारी सामने नहीं आई है।

यह दीगर बात है घटना बड़ी दर्दनाक हुई, लेकिन जानकारी में सामने आया है कि डॉ मुरारी मीणा ने भी जीवन को बड़ी लापरवाही से जीया है और यही लापरवाही सम्भवतया उनकी इस प्रकार से मौत का कारण बनी। परिजनों को जानकारी देने के बाद पुलिस हर पहलू की जांच में जुटी हुई है।
पत्नी से निभा पाए थे वफादारी!
जानकारी में सामने आया है कि डॉ मुरारी मीणा यहां दो साल से कार्यरत थे। डॉ मीणा अपनी पहली के साथ वफादारी नहीं निभा पाए, जिस कारण मामला न्यायालय तक पहुंच गया। न्यायालय के आदेश से पहली पत्नी को उनके वेतनमान से हर्जाना दिया जा रहा है। फिलहाल उसका निस्तारण नहीं हो पाया था। इस सम्बंध में जालोर आयुर्वेद विभाग के उप निदेशक डॉ दिनेश जोशी ने बताया कि डॉ मीणा के वेतन में से उनकी पत्नी के खाते में निदेशालय के निर्देश अनुसार कटौती होकर जमा होती थी।
सर्विस में भी थे लापरवाह
डॉ मीणा अपनी सरकारी सेवा में भी बहुत लापरवाह रहे, इसका उदाहरण उनकी सेवा कार्य का सर्विस रेकर्ड दे रहा है। उनके विरुद्ध कई बार 17 सीसीए कार्यवाही की गई। कई बार सर्विस के दौरान मरीजों के साथ दुर्व्यवहार व ड्यूटी के प्रति लापरवाही के कारण विभागीय कार्रवाई की गई। उनका पूरा सर्विस रेकर्ड लाल रंग की लाइनों से भरा हुआ है।
नशे की लत से घिर गए थे डॉ मुरारी
विभागीय सहयोगियों के मुताबिक डॉ मुरारी मीणा शराब व स्मोकिंग के नशे की लत से घिर गए थे। इस कारण जीवन के प्रति बेपरवाह हो गए थे। जिस सरकारी कमरे में रहते थे, वहां लाइट का बिल नहीं भरा गया था, जिस कारण डिस्कॉम ने कई महीने पहले कनेक्शन काट दिया था। उसके बाद भी वहां निवास करते थे।
मौत के वायरल हुआ वीडियो
घटना के बाद डॉ मुरारी मीणा का स्वयं का बनाया एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें वो विभाग के उपनिदेशक डॉ दिनेश जोशी पर आरोप लगा रहे है। वो वीडियो में बोल रहे है कि वो काफी बीमार रहे, दवाइयां चल रही है। आर्थिक रूप से भी तंगी है। उम्मेदाबाद में सरकारी आवास नहीं है। विभागीय उपनिदेशक उनका एचआरए नहीं बना रहे हैं।
इनका कहना है…
डॉ मुरारी मीणा सर्विस में लापरवाही बरतते थे, जिस कारण कई बार उनके विरुद्ध विभागीय कार्रवाई की गई थी। उन्होंने बिजली कनेक्शन भी उनके कारण कट गया। उनके वेतन से उनकी पत्नी को हर्जाना दिया जा रहा है।
-डॉ दिनेश जोशी, उप निदेशक, आयुर्वेद विभाग, जालोर
डॉ मुरारी मीणा सरकारी आवास के कमरे में ही रह रहे थे, बिजली कनेक्शन कटा होने से शार्ट सर्किट की आशंका भी नहीं है। कमरे में खाली पव्वे भी मिले है। जानकारी में आया है कि रात को मोबाइल पर परिजनों से बहस भी की थी। वो स्मोकिंग ज्यादा करते थे, सम्भवतया शराब के नशे में स्मोकिंग करते चिंगारी ने बिस्तरों पर आग का रूप ले लिया हो। फिर भी पुलिस हर पहलू से जांच कर रही है।
-गौतम जैन, पुलिस उपाधीक्षक, जालोर वृत्त