जालोर. शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के द्वारा आयोजित शिक्षा संवाद को संबोधित करते हुए मुख्य वक्ता केरल के शिक्षाविद और न्यास के राष्ट्रीय सह संयोजक ए विनोद कारूवाराकुन्ड ने कहा कि शिक्षा में सार्थक परिवर्तन के लिए सरकार और समाज को मिलकर काम करना पड़ेगा, इसी से भारत के उत्कर्ष का मार्ग प्रशस्त होगा।
राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के क्रियान्वयन में निजी शिक्षण संस्थानों की भूमिका को लेकर शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास द्वारा एक शिक्षा संवाद कार्यक्रम का आयोजन किया गया। नैमिषारण्य सभागार में आयोजित शिक्षा संवाद कार्यक्रम के मुख्य वक्ता ए विनोद ने विस्तार से राष्ट्रीय शिक्षा नीति में निहित व्यावसायिक शिक्षा, मातृभाषा में शिक्षा, पंचकोश आधारित शिक्षा आदि विषयों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि विद्यालय संचालक और प्रधानाचार्य राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप विभिन्न कार्यों एवं गतिविधियों का संचालन प्रारंभ करने की आवश्यकता है।उन्होंने कहा कि विद्यालय के श्रेष्ठ शैक्षिक वातावरण निर्माण में चरित्र निर्माण एवं मूल्य आधारित शिक्षा में मातृभाषा में शिक्षण में शिक्षा द्वारा कौशल विकास में शिक्षण संस्थानों की अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका है।
उन्होंने कहा कि पाठ्य पुस्तक प्रकाशन तक इंतजार करने की बजाय अनेक और भी संभावनाएं है जिसके माध्यम से राष्ट्रीय शिक्षा नीति को लागू करने की दिशा में आगे बढ़ा जा सकता है। डाइट के उप आचार्य शांतिलाल दवे ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए कार्यक्रम की भूमिका और उद्देश्य पर प्रकाश डाला । कार्यक्रम में को संबोधित करते हुए राजकीय महाविद्यालय जालौर के प्राचार्य अर्जुन सिंह उज्ज्वल ने मातृभाषा में शिक्षा के राष्ट्रीय शिक्षा नीति के कदम को अत्यंत महत्वपूर्ण एवं क्रांतिकारी बताया। शिक्षाविद संदीप जोशी ने शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास का परिचय दिया एवं न्यास द्वारा संचालित कार्यों का विस्तार से विवरण प्रस्तुत किया। उन्होंने कहा कि विद्यालय में कार्य कर रहे शिक्षकों प्रबंधकों आदि द्वारा विभिन्न प्रकार के नवाचार करके शिक्षा के साथ जीवन मूल्य गढ़ा जा सकता है, विद्यार्थी जीवन से ही कौशल विकास के माध्यम से भविष्य में श्रेष्ठ रोजगार की संभावना इस पर प्रकाश डाला।
कार्यक्रम को सेवानिवृत्त जिला शिक्षा अधिकारी मुकेश कुमार सोलंकी, जालौर डाइट के सेवानिवृत प्राचार्य धनराज दवे संबोधित किया। आयोजन समिति के सदस्य मुकेश सुंदेशा ने बताया कि इस कार्यक्रम में जालोर के लगभग 32 निजी विद्यालय संचालक एवं सरकारी विद्यालयों के प्रधानाचार्य सहित अनेक शिक्षक उपस्थित रहे।
कार्यक्रम में सूरज सिंह, शैतान सिंह चौहान, सरदार सिंह चारण, छगनपुरी गोस्वामी , मिश्रीमल गर्ग, मनीष ठाकुर, नारायण चौधरी, सुरेंद्र नाग, करणसिंह, अरविंद कुमार विजय भंडारी ललित दवे, चंपालाल खत्री, पुरण सिंह, नरेंद्र बोहरा, ललित दवे, भलाराम देवासी, सूर्यवीर सिंह, ईश्वर लाल प्रजापत, चतराराम, राजेंद्र सिंह, निशा कुट्टी, जुगल किशोर दवे, हितेश कुमार, राजेंद्र बोहरा, भंवर मकवाना, राजेंद्र परमार, कृष्ण कुमार माली, नरेश देवड़ा, पूर्ण प्रकाश नाग सहित अनेक शिक्षक- शिक्षाविद उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन डाइट उपाचार्य शांतिलाल दवे ने किया। तेनसिंह परमार ने सभी का आभार जताया।